Manobodh by Priya Shende Part 53 : सदा आर्जवी प्रिय जो सर्व लोकी
एमपीसी न्यूज - मनोबोध: मनाचे श्लोक क्रमांक 53 (Manobodh by Priya Shende Part 53)सदा आर्जवी प्रिय जो सर्व लोकीसदा सर्वदा सत्यवादी विवेकीन बोले कदा मिथ्या वाचा त्रिवाचाजगी धन्य तो दास सर्वोत्तमाचा…